- मजदूर दिवस पर शिकागो के शहीदों को दी श्रद्धांजलि ।
- यूनियनों, फेडेरेशनों और ट्राईसिटी के निवासियों ने शासन व प्रशासन के खिलाफ हल्ला बोला व नारेबाजी की ।
- केंद्रीय गृहमंत्री श्री अमित शाह के नाम चंडीगढ़ गवर्नर के माध्यम से भेजा मांग पत्र – चंडीगढ़ प्रशासन से मीटिंग की मांग।
- मीटिंग न मिलने पर गवर्नर हाउस को होगा कूच।
चंडीगढ़, 1 मई 2025: ऑल कांट्रैक्चुअल कर्मचारी संघ भारत (रजि.), यूटी चंडीगढ़ द्वारा 1 मई को मस्जिद के समीप ग्राउंड, सेक्टर-20 में “मजदूर दिवस” के अवसर पर लंबित मांगों के समर्थन रोष प्रदर्शन आयोजित किया गया।
इस कार्यक्रम के शुरूआत में शिकागो के 1886 के शहीद मजदूरों को श्रद्धांजलि भी अर्पित की गई।
इस कार्यक्रम में चंडीगढ़ के कांट्रैक्ट, आउटसोर्सिंग कर्मचारी, विभिन्न युनियन, फैडरेशन एवं आम नागरिक सपरिवार शामिल हुए।
इस मौके पर मौजूद बड़ी तादाद में कांट्रैक्ट व आउटसोर्सिंग कर्मचारियों,काँटरैकचुअल कर्मचारी संघ, अन्य युनियनों,फैडरेशनों व आम नागरिकों द्वारा कांट्रैक्ट व आउटसोर्सिंग कर्मचारियों की लंबे समय से लंबित मांगों के समाधान हेतु शासन-प्रशासन के खिलाफ हल्ला बोला गया व नारेबाजी भी की गई।
इस रोष प्रदर्शन में भूपिंदर सिंह गिल, सज्जन सिंह, तरनदीप ग्रेवाल,राजकुमार अशोक कुमार,सतीश कुमार,पूनम टपरियाल,बबीता रावत,अन्नू कुमार,डा लीम चंद ,जनार्दन यादव,ओम कैलाश , विक्रमजीत सिंह,बिपिन शेर सिंह व चंडीगढ़ ग्रुप से राज चढ्ढा इत्यादि ने भाग लिया व संबोधित किया ।
प्रधान अशोक कुमार व महासचिव सतीश कुमार ने बताया कि कांट्रैक्ट व आउटसोर्सिंग कर्मचारियों की मांगों को लेकर कई बार प्रशासन से बैठक की मांग की गई, लेकिन चंडीगढ़ प्रशासन द्वारा अब तक कोई सकारात्मक कदम नहीं उठाया गया है।
कर्मचारी संघ की सीनियर उपाध्यक्ष पूनम टपरियाल ने कहा कि पिछले 20-25 वर्षों से विभिन्न विभागों में कार्यरत कांट्रैक्ट और आउटसोर्सिंग कर्मचारियों की नौकरी की कोई सुरक्षा नीति नहीं है, जबकि अन्य राज्यों में इस संबंध में नीति बनाई जा चुकी है।
संघ के चेयरमैन ने कहा कि यह संघर्ष न आपके बारे में है, न मेरे बारे में—यह हम सभी के बारे में है, जो मिलकर मेहनत कर रहे हैं।
उन्होंने चंडीगढ़ प्रशासन से मांग की कि पड़ोसी राज्यों की तर्ज पर उचित प्रक्रिया के तहत नियुक्त कांट्रैक्ट कर्मचारियों को नौकरी की सुरक्षा प्रदान की जाए और आऊटसोर्सिंग कर्मचारियों की सुरक्षा के लिए श्रम कानूनों, विशेषकर सीएलआरए अधिनियम 1970 का सख्ती से पालन हो—जिसमें समान कार्य के लिए समान वेतन और ठेकेदारी प्रथा की समाप्ति जैसी महत्वपूर्ण बातें शामिल हैं।
उन्होंने शिक्षा विभाग के डीसी दर पर कार्यरत कर्मचारियों को बेसिक + डीए देने, कांट्रैक्ट कर्मचारियों व सर्व शिक्षा अभियान टीचर्स को सांतवा केंद्रीय वेतनमान,एनएचएम,स्पैशल ट्रेनिंग सेंटर टीचर्स और मिड डे मील कर्मियों को डीसी रेट के समान दरें लागू करने, मौजूदा डीसी रेट दरों में 15 प्रतिशत की वृद्धि करने तथा ईएसआई और ईपीएफ की सीमा को 50,000 रुपये तक बढ़ाने की मांग रखी।
कर्मचारी संघ के मुख्य सलाहकार श्री चंद्र जायसवाल ने प्रशासन से सर्वोच्च न्यायालय के जग्गो बनाम युनियन आफ इंडिया आदि के निर्णयों के अनुरूप कच्चे कर्मचारियों की नौकरी की सुरक्षा सुनिश्चित करने की मांग की और आल कांटरैकचुअल कर्मचारी संघ भारत ने केंद्रीय गृह मंत्री श्री अमित शाह के नाम गवर्नर के माध्यम से मांग पत्र भेजा व चंडीगढ़ प्रशासन से जल्द मीटिंग की मांग भी की।
आल कांटरैकचुअल कर्मचारी संघ भारत ने इस रोष प्रदर्शन के माध्यम से यह भी चेताया कि यदि लंबित मांगों के संबंध में चंडीगढ़ प्रशासन द्वारा शीघ्र ही अगर बैठक नहीं की गई, तो आंदोलन को तेज करते हुए जल्द ही गवर्नर हाउस तक मार्च किया जाएगा।
उन्होंने विभिन्न यूनियनों, फेडेरेशनों और ट्राईसिटी के निवासियों से इस रोष प्रदर्शन में शामिल होने व शिकागो के शहीदों को श्रद्धांजलि के लिए सबका आभार व्यक्त किया ।
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